खेलते वक्त सोनू, रोशन को पकड़ने की कोशिश कर रहा था। उसने जल्दबाज़ी में रोशन की शर्ट की जेब खींच ली। फटी हुई जेब शर्ट से लटक रही थी। थोड़ी देर के लिए रोशन अपनी शर्ट को देखता रहा। उसे यकीन नहीं हो रहा था कि वह फट चुकी थी। आँसुओं को रोकते हुए, उसने सोनू की तरफ देखा और कहा, “तुम इतने लापरवाह कैसे हो सकते हो? तुम ने मेरी मनपसंद शर्ट फाड़ दी। मैं तुम्हारे साथ कभी नहीं खेलूँगा।” ऊँची आवाज़ें सुनकर सोनू की माँ ने खिड़की से झाँक कर देखना चाहा कि मामला क्या है। उसने सोनू और रोशन को बहस करते हुए देखा। इससे पहले कि रोशन और कुछ कह पाता, सोनू ने उसका मज़ाक उड़ाते हुए कहा, “हाहाहाहा.., मनपसंद…. अच्छा है कि फट गई, कितनी भद्दी शर्ट है। मैं सोच भी नहीं सकता कि तुम्हें ऎसा मैला भूरा रंग क्यों पसंद है। ऎसा लगता है कि यह कीचड़ से उठाई गई है।” यह सुनकर रोशन गुस्से से तमतमाने लगा। वह सोनू से झगड़ने ही वाला था, कि उसकी माँ ने उसे किसी काम से घर बुला लिया। रोशन ने सोनू की तरफ उँगुली दिखाते हुए कहा, “तुमसे तो मैं बाद में निपट लूँगा।”
[Contributed by ankit.dwivedi@clixindia.org on 13. November 2025 07:39:29]
खेलते वक्त सोनू, रोशन को पकड़ने की कोशिश कर रहा था। उसने जल्दबाज़ी में रोशन की शर्ट की जेब खींच ली। फटी हुई जेब शर्ट से लटक रही थी। थोड़ी देर के लिए रोशन अपनी शर्ट को देखता रहा। उसे यकीन नहीं हो रहा था कि वह फट चुकी थी। आँसुओं को रोकते हुए, उसने सोनू की तरफ देखा और कहा, “तुम इतने लापरवाह कैसे हो सकते हो? तुम ने मेरी मनपसंद शर्ट फाड़ दी। मैं तुम्हारे साथ कभी नहीं खेलूँगा।” ऊँची आवाज़ें सुनकर सोनू की माँ ने खिड़की से झाँक कर देखना चाहा कि मामला क्या है। उसने सोनू और रोशन को बहस करते हुए देखा। इससे पहले कि रोशन और कुछ कह पाता, सोनू ने उसका मज़ाक उड़ाते हुए कहा, “हाहाहाहा.., मनपसंद…. अच्छा है कि फट गई, कितनी भद्दी शर्ट है। मैं सोच भी नहीं सकता कि तुम्हें ऎसा मैला भूरा रंग क्यों पसंद है। ऎसा लगता है कि यह कीचड़ से उठाई गई है।” यह सुनकर रोशन गुस्से से तमतमाने लगा। वह सोनू से झगड़ने ही वाला था, कि उसकी माँ ने उसे किसी काम से घर बुला लिया। रोशन ने सोनू की तरफ उँगुली दिखाते हुए कहा, “तुमसे तो मैं बाद में निपट लूँगा।”